बांसवाड़ा : 3699 शिक्षकों को नहीं मिला वेतन
बांसवाड़ा : जिलेमें सर्व शिक्षा अभियान के तहत कार्यरत हजारों शिक्षकों को वक्त पर वेतन नहीं मिल रहा। विभागीय लापरवाही के चलते किसी को दस-बीस दिन बाद तो कोई दो महीने तक भुगतान का संकट झेल रहा है।
जिले में द्वितीय और तृतीय श्रेणी सहित कुल 3699 शिक्षक कार्यरत हैं,जिनमें 958 प्रबोधक शामिल हैं। सितंबर माह को ही लें, तो नियमानुसार वेतन डिमांड 1234 लाख रुपए जिले से गुरुवार को जयपुर भेजी गई, जबकि 5 तारीख तक तनख्वाह मिलनी ही चाहिए। ऐसे में बजट होने के बावजूद जयपुर से मंजूरी ही देर से मिलनी तय हो गई।
इसे पीछे असल कारण बीईईओ कार्यालयों से समन्वय की कमी और उदासीन रवैया सामने आया है। अब शिक्षक सवाल उठा रहे हैं तो ब्लॉक से जिला और जिले से जयपुर मुख्यालय पर जिम्मा डाला जा रहा है। दूसरी ओर,एसएसए जयपुर का कहना है कि जब जिले से डिमांड ही वक्त पर नहीं भेजते,तो बजट कैसे जारी हो।
दशा यह है कि कई बार कुछ ब्लॉक से फीडबैक तब भेजा जा रहा है,जब एसएसए बांसवाड़ा से औसत आंकड़ों के बूते जयपुर डिमांड भेजा जा चुका होता है। सितंबर के जुबानी आंकड़े बताने के बाद बागीदौरा ब्लॉक से तो शुक्रवार तक लिखित में कुछ भेजा ही नहीं गया।
कुछ ब्लॉकों से ऐसी दिक्कतें कई माह से सामने आने पर डीईओ स्पष्ट निर्देश दे चुके हैं कि डिमांड नहीं आए,उनका भुगतान रोका जाए। इसके बावजूद ढर्रा नहीं सुधर रहा है। ऐसी स्थिति पर कर्मचारी संयुक्त महासंघ एकीकृत के जिलाध्यक्ष वीएस सांयावत ने तो एएसए पर तालाबंदी करने की चेतावनी तक दी है।
इधर भी दो माह की देरी
दूसरी ओर, संस्कृत शिक्षा के अधीन एसएसए मद के 50 शिक्षकों की हालत यह है कि मई का वेतन उन्हें 2 जुलाई को, जून का 11 अगस्त को और जुलाई का वेतन 17 अगस्त को मिला है। कारण कि दूसरे शिक्षकों का वेतन संकुल स्तर बन रहा है, लेकिन एसएसए शिक्षकों की तनख्वाह उदयपुर संभागीय संस्कृत शिक्षा अधिकारी कार्यालय से बनने से भुगतान लेट हो रहा है।
तीन साल से चल रही इस परेशानी पर शिक्षक संघ राष्ट्रीय के जिलाध्यक्ष गमीरचंद पाटीदार के नेतृत्व में शुक्रवार को प्रमुख शासन सचिव एवं संस्कृत शिक्षा मंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन भी दिया गया। ज्ञापन देने वालों में यज्ञदत्त जोशी, वनेश्वर गर्ग, कन्हैयालाल यादव, हर्षेश जोशी, शंभुलाल डोडियार, दीपककुमार शामिल थे।