बांसवाड़ा। रातीतलाई स्थित माध्यमिक जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय पूरी तरह जर्जर हो चुका हैं। सार्वजनिक निर्माण विभाग ने मार्च 2017 में ही इसे नकारा घोषित कर दिया, लेकिन नए भवन की नींव नहीं रखी गई। ऐसे में जिला शिक्षा अधिकारी की ओर से जर्जर भवन में ही अपने कर्मचारियों से काम करवा रहे हैं। जहां हर दम हादसे का अंदेशा बना रहता है। विभाग द्वारा नए भवन की स्वीकृति और निर्माण होने तक मरम्मत भी नहीं कराई जा रही। डीईओ राजेंद्र प्रसाद द्विवेदी को यह तक पता नहीं की निर्माण कब शुरू होगा और कब पूरा। भले ही भवन को पिछले साल नकारा घोषित किया हो, लेकिन यहां दीवारों में दरारें, छतों से प्लास्टर गिरने की समस्या करीब 5 सालों से आ रही है। इसके बाद भी एक रुपया भी मरम्मत में खर्च नहीं किया गया है। यहां 35 से अधिक कर्मचारी काम करते हैं जो स्वयं का बचाव अपने स्तर पर ही करने को मजबूर हैं। इनके अलावा प्रतिदिन सैकड़ों लोग, शिक्षक शिक्षिकाएं अपनी परिवेदना और समस्या लेकर पहुंचते हैं।
कर्मचारी स्वयं करते हैं अस्थाई समाधान
इस भवन में काम करने में सबसे अधिक परेशानी बारिश के दिनों में उठानी पड़ रही है। जहां छतों से पानी टपकने के साथ साथ छत से भारी भरकम प्लास्टर भी गिरता रहता है। इसके साथ ही दीवारों में पानी आने से इलेक्ट्रीक लाइन से करंट का खतरा भी मंडराता रहता है। इस स्थिति में कर्मचारियों ने विभाग के सभी कमरों में छत के समानांतर तिरपाल बिछा दी जाती हैं, इससे पानी उसमें गिरता रहता है। भवन की बाहरी दीवारों से तो प्लास्टर ही गायब हो चुका हैं।फर्नीचर और अलमारी के अभाव में दस्तावेजों को कपड़े के बस्ते में बांध कर रखा गया हैं। पहले भी कई बार बारिश के दिनों में यह गिले हो चुके हैं। इन दिनों गर्मी के कारण यह अधिकांश दस्तावेज तो पुराने होने के कारण फटने की स्थिति में हैं। कार्यालय में रखी लोहे की अलमारी और पंखें तो सालों से नहीं बदले गए, जो अब जंग खा चुके हैं।
8 माह पहले भेजा 3 करोड़ का प्रस्ताव
डीईअो माध्यमिक राजेंद्र प्रसाद द्विवेदी ने बताया कि भवन के नकारा घोषित किए जाने के बाद सितंबर 2017 में प्रस्ताव बनाकर भेजे थे। उस दौरान 3.25 करोड़ का प्रस्ताव नए भवन के लिए तैयार कर पीडब्ल्यूडी को भेजा था। लेकिन राशि ज्यादा होने के कारण रिवाइज्ड प्रस्ताव भेजा यह प्रस्ताव पीडब्ल्यूडी ने ही 1 करोड़ 89 लाख का तैयार किया था। जिसकी स्वीकृति पिछले 3 से 4 दिन पहले ही मिली हैं। यह स्वीकृति हमनें पीडब्ल्यूडी जयपुर को भेज दी है। अब उनके द्वारा कब काम शुरू होगा और कब पूरा होगा इसकी जानकारी नहीं है। इधर पीडब्ल्यूडी एईएन अनिल आर जोशी ने बताया कि डीईओ ने प्रस्ताव भेजे थे, लेकिन स्वीकृति को लेकर हमारे पास कोई पत्र नहीं आया है इसलिए निर्माण शुरू नहीं कराया जा सकता।
नवप्रवेशित विद्यार्थियों की विभाग को देनी होगी रिपोर्ट
बांसवाड़ा। शिक्षा सत्र 2018-19 के तहत सरकारी स्कूलों में प्रवेशोत्सव शुरू हो गया है। सरकारी स्कूलों में नामांकन बढ़ोतरी के लिए शिक्षक जहां घर-घर दस्तक दे रहे है। वहीं अधिकारी भी स्कूलों में पहुंचकर वस्तुस्थिति की रिपोर्ट ले रहे हैं। नवप्रवेशित छात्र-छात्राओं की सूचना प्रतिदिन ब्लॉक कार्यालय में भिजवाने के भी निर्देश दिए।
भारतीय संस्कृति ज्ञान परीक्षा अक्टूबर में
बांसवाड़ा। विद्यालयों में नैतिक शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए भारतीय संस्कृति ज्ञान परीक्षा इस वर्ष 25 अक्टूबर को आयोजित होगी। परीक्षा के तहत कक्षा पांच व छह के लिए 25 रुपए तथा सातवीं से 12वीं के लिए 30 रुपए का शुल्क प्रति विद्यार्थी रहेगा। यह शुल्क वेदमाता गायत्री ट्रस्ट के नाम से दस अगस्त तक भिजवाने के निर्देश जिला शिक्षा अधिकारी माध्यमिक ने अधीनस्थ संस्थाप्रधानों को दिए हैं। उन्होंने बताया कि परीक्षा में प्रथम रहने वाले परीक्षार्थी को तहसील स्तर पर तीन सौ, जिला स्तर पर पांच सौ और राज्य स्तर पर तीन हजार रुपए का पुरस्कार दिया जाएगा। द्वितीय को तहसील स्तर पर दो सौ, जिला स्तर पर चार सौ और राज्य स्तर पर एक हजार रुपए तथा तृतीय रहने पर तहसील स्तर पर एक सौ, जिला स्तर पर तीन सौ और राज्य स्तर पर सात सौ रुपए का पुरस्कार दिया जाएगा।
अब कस्तूरबा गांधी के नाम से जानें जाएंगे शारदे छात्रावास
कल्प लैब भी आईसीटी के रूप में जानी जाएगी
बांसवाड़ा। सर्व शिक्षा अभियान, राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान और टीचर एजुकेशन को एकीकृत कर समग्र शिक्षा अभियान अस्तित्व में आ गया है। इसका पहला परिवर्तन यह सामने आया है कि शारदे छात्रावास अब कस्तूरबा गांधी छात्रावास के नाम से जाने जाएंगे। वहीं सर्व शिक्षा अभियान के तहत चलने वाली कल्प योजना भी समग्र शिक्षा अभियान में आईसीटी लैब के रूप में अस्तित्व में रहेगी। सर्व शिक्षा अभियान, राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान और टीचर एजुकेशन को सम्मिलित कर वार्षिक कार्य योजना तैयार करने की गतिविधियां शुरू हो गई है। इसके तहत गुरुवार को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में बैठक हुई। अतिरिक्त जिला परियोजना समन्वयक जयदीप पुरोहित, उमेश अधिकारी की मौजूदगी में आयोजित बैठक में स्कूल डवलपमेंट प्लान तैयार करने संबंधी जानकारी दी गई। बैठक में बताया गया कि शारदे छात्रावास अब कस्तूरबा गांधी आवासीय छात्रावास के नाम से ही जाने जाएंगे। वहीं कल्प स्कूलों की गणना आईसीटी लैब वाले विद्यालयों के तहत होगी। इसका प्लान भी आईसीटी लैब के रूप में बनाया जाएगा।
सबसे पहले विद्यालय स्तर की योजना
बैठक में मौजूद बीईईओ, आरपी, योजना प्रभारियों को टेबल्स की जानकारी जयपुर से प्रशिक्षण प्राप्त कर लौटे एमआईएस रितेश चौबीसा ने दी।उन्होंने बताया कि सबसे पहले विद्यालय स्तर की योजना बनेगी। इसके बाद सात मई तक विद्यालय स्तर की योजना के आधार पर ब्लॉक योजना बनाकर ब्लॉक शिक्षा समिति से अनुमोदन कराना होगा। जिला स्तर पर ब्लॉक की योजना का संकलन और अनुमोदन 10 मई तक कराना होगा। ब्लॉक योजना के आधार पर जिला योजना का निर्माण व जिला परिषद की शिक्षा समिति से अनुमोदन 14 मई तक कराना होगा। सभी कार्यक्रम अधिकारियों से जिले वार योजना का अनुमोदन राज्य स्तर पर 15 मई को होगा। इसके अतिरिक्त शिक्षा के क्षेत्र में आने वाले समय में और भी नवाचार देखने को मिल सकते है।